चंडीगढ़, 10 जुलाई : पंजाब-हरियाणा की सीमा ‘शंभू बॉर्डर’ (जहां पिछले कई महीनों से किसान धरने पर बैठे हैं) खोलने के हाईकोर्ट के फैसले का आम आदमी पार्टी ने स्वागत किया है। पार्टी ने कहा कि किसानों की सभी मांगे जायज़ है इसलिए केंद्र सरकार उन्हें बॉर्डर पर रोकने के बजाय उनकी मांगों को पूरा करने पर विचार करे।
बुधवार को आम आदमी पार्टी पंजाब के वरिष्ठ नेता और प्रवक्ता नील गर्ग ने कहा कि 2013 में प्रधानमंत्री बनने से पहले नरेंद्र मोदी ने खुद कहा था कि हम किसानों का पूरा कर्ज माफ करेंगे और स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के अनुसार एमएसपी पर कानून बनाएंगे। लेकिन प्रधानमंत्री मोदी अपने वादे से पलट गए इसलिए किसानों को दिल्ली जाने पर मजबूर होना पड़ा है।
गर्ग ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के किसानों के साथ बड़ा धोखा किया है। उन्होंने किसानों से संबंधित अपने एक भी वादे पूरे नहीं किए, उल्टे किसानों जमीन और फसल अपने कॉर्पोरेट दोस्तों को सौंपने के लिए काले कृषि कानून उनपर थोपने की कोशिश की, जिसके कारण 750 से ज्यादा किसानों की मृत्यु हो गई।
उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन से डर कर जब प्रधानमंत्री मोदी ने काले कृषि कानून वापस लेने की घोषणा की थी, उस समय भी उन्होंने कहा था कि एमएसपी पर एक कमेटी बनाकर इसे कानूनी बनाने की दिशा में काम किया जाएगा, लेकिन आज तक उन्होंने इसे पूरा नहीं किया। अगर मोदी सरकार दो साल में एमएसपी को कानूनी तौर पर लागू कर देती तो पंजाब और हरियाणा के किसानों को दोबारा दिल्ली जाने की नौबत ही नहीं आती।
उन्होंने कहा कि शुक्र है हाईकोर्ट ने इस मामले में हस्तक्षेप कर दिया नहीं तो हाईवे अनिश्चित काल के लिए बंद रहता। अब कोर्ट का फैसला आने के बाद आम लोगों और किसानों दोनों को राहत मिलेगी। आमलोगों के लिए आवागमन आसान होगा। वहीं किसानों को शांतिपूर्ण ढंग से अपनी बात केन्द्र सरकार तक पहुंचाने का फिर से मौका मिलेगा।