Sudhir Rajpal directs inspection of MTP and ultrasound centers, canceling registrations for non-compliance.
हरियाणा के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री सुधीर राजपाल ने आज स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को प्रदेश भर में सभी मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेगनेंसी (एमटीपी) और अल्ट्रासाउंड केंद्रों का निरीक्षण करने के निर्देश दिए। उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि निर्धारित मानदंडों का पालन न करने वाले केंद्रों का पंजीकरण रद्द किया जाए।
श्री सुधीर राजपाल, जिनके पास महिला एवं बाल विकास विभाग का प्रभार भी है, आज यहाँ दोनों विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि राज्य में जन्म के समय लिंगानुपात को और बेहतर बनाने के लिए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग तथा महिला एवं बाल विकास विभाग बेहतर सहयोग और समन्वय बनाते हुए कार्य करें । उन्होंने कहा कि वांछित परिणाम प्राप्त करने के लिए महिला एवं बाल विकास विभाग की आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं तथा स्वास्थ्य विभाग की आशा कार्यकर्ताओं समय पर गर्भावस्था पंजीकरण सुनिश्चित करें।
श्री सुधीर राजपाल ने राज्य औषधि नियंत्रक को निर्देश देते हुए कहा कि एमटीपी टेबलेट्स की बिक्री पर कड़ी निगरानी रखी जाए। अधिकृत डॉक्टर के प्रिस्क्रिप्शन के बिना इसे नहीं बेचा जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस नियम का उल्लंघन करने वाले के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए। उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि सिविल सर्जन की टीमें नियमित रूप से एमटीपी केंद्रों से डेटा का विश्लेषण करें। अगर रिपोर्ट में कोई विसंगति या गड़बड़ी पाई जाती है तो उन केंद्रों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए। इसके अलावा, उन्होंने एमटीपी केंद्रों द्वारा गर्भपात के कारणों का विवरण देते हुए सम्बंधित सिविल सर्जन को तिमाहीवार रिपोर्ट जमा करवाने के भी निर्देश दिए।
कन्या भ्रूण हत्या से निपटने तथा प्रत्येक बालिका की सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करने के लिए समन्वित प्रयासों के महत्व पर बल देते हुए, श्री सुधीर राजपाल ने स्वास्थ्य और महिला एवं बाल विकास विभागों को निर्देश दिया कि वे आशा और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के माध्यम से समन्वित प्रयास करके बालिकाओं वाले परिवारों की पहचान करें करते हुए कन्या भ्रूण हत्या जैसी सामाजिक बुराई से निपटने के लिए लक्षित जागरूकता अभियान चलाएं।
बैठक में बताया गया कि हरियाणा में किसी भी प्रसवपूर्व सेवा का लाभ उठाने के लिए आरसीएच पोर्टल पर उपलब्ध यूनिक एएनआर नंबर अनिवार्य है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा गर्भवती महिलाओं के लिए आरसीएच पोर्टल पर स्व-पंजीकरण की संभावना की तलाश की जा रही है। इससे विभाग को गर्भावस्था के दौरान ऐसे महिलाओं की प्रगति पर नज़र रखने और कन्या भ्रूण हत्या पर अंकुश लगाने के लिए आवश्यक उपाय करने में मदद मिलेगी।
बैठक में महानिदेशक स्वास्थ्य सेवाएं डॉ. मनीष बंसल, महिला एवं बाल विकास विभाग की निदेशक मोनिका मलिक, सिविल सर्जन पंचकूला डॉ. मुक्ता और अन्य अधिकारी भी मौजूद थे।